Tuesday 31 March 2020

लॉक डाउन के नाकारात्मक प्रभाव से बचने के लिए एसएमई सेक्टर को आर्थिक सहायता प्रदान करनी जरूरी : प्रभाकर


फरीदाबाद। मैन्यूफैक्चरस एसोसिएशन फरीदाबाद के महासचिव श्री रमणीक प्रभाकर ने केंद्र सरकार से देश के लघु व टाइनी इंडस्ट्री के लिए विशेष आर्थिक सुविधाएं मुहैया कराने का आग्रह किया है।
 श्री प्रभाकर के अनुसार हालांकि केंद्र सरकार द्वारा ईएमआई व अन्य भुगतान की किस्तों को आगे बढ़ाया गया है परंतु वर्तमान स्थिति को देखते हुए कहा जा सकता है कि उद्योग जगत के लिए यह काफी नहीं है।
श्री प्रभाकर का मानना है कि लॉक डाउन की स्थिति में जो उद्योग बंद है उन्हें दोबारा से पटरी पर आने में कम से कम 3 से 4 माह का समय लगेगा क्योंकि उत्पादन पूरी तरह से ठप्प है और पूरे सिस्टम को नए सिरे से आरंभ करना होगा।
श्री प्रभाकर ने इसके साथ-साथ श्रमिकों के वेतन व अन्य समस्याओं की ओर भी केंद्र सरकार का ध्यान आकर्षित करते कहा है कि यदि सरकार वास्तव में अर्थव्यवस्था में तेजी प्रदान करना चाहती है तो एमएसएमई सेक्टर के लिए कार्य करना जरूरी है। आपने इसके साथ-साथ देश में मुद्रा प्रवाह को बढ़ाने व एमएसएमई सेक्टर को ऋण उपलब्ध कराने के लिए भी प्रभावी कदम उठाने का आग्रह किया है।
श्री प्रभाकर का सुझाव है कि जो औद्योगिक संस्थान पिछले काफी समय से चल रहे हैं और जो डिफाल्टर सूची में नहीं है उन्हें तुरंत प्रभाव से वित्तीय सुविधा मुहैया कराई जाएं और इस पर न्यूनतम ब्याज दर हो ताकि यह वित्तीय सहायता कैपिटल पूंजी के रूप में इस्तेमाल की जा सके और उत्पादकता का चक्र बढ़ सके।
 श्री प्रभाकर ने विश्वास व्यक्त किया है कि केंद्र सरकार, वित्त मंत्रालय व आरबीआई इस संबंध में ठोस व प्रभावी कार्यनीति का परिचय देगा और इससे अर्थव्यवस्था को निश्चित रूप से प्रोत्साहन मिलेगा।
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